Sehat Ke Liye Dua | सेहत के लिए दुआ

अस्सलामु अलैकुम मेरे प्यारे अजिज भइओ बहनो सेहत की दुआ हिंदी में हज़रत आयतुल्लाह उज़्मा शेख़ हुसैन वहीद ख़ुरासानी फ़रमाते है अगर किसी की तबयत खराब है या कोई बीमारी है तो आयतुल्लाह वहीद ख़ुरासानी उसके लिए अमल बताते है चाहे किसी भी तरह की बीमारी है इंशाल्लाह बहुत जल्द सेहत पाएगा !

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अमल कुछ इस तरह है

पहले दिन वो दायाँ हाथ (Right Hand) अपने दिल पर या सर पर रखेउसके बाद 70 मर्तबा सुराह हम्द की तिलावत करे और तिलावत के दरमियान किसी से गुफ्तागू न करे !

दुसरे दिन भी दायाँ हाथ (Right Hand) अपने दिल पर या सर पर रखे उसके बाद 7 मर्तबा सुराह हम्द की तिलावत करे और तिलावत के दरमियान किसी से गुफ्तागू न करे !

दो दिन ये अम्ल करने के बाद मन्नत माने के जब मेरी तबयत सही हो जायगी तो 4 कुरान या ख़ुद पढूगा या किसी को पैसे देकर पढ़वाऊगा या 2 कुरान में ख़ुद पढूगा और 2 कुरान किसी से पढ़वाऊगा जैसे भी आप मन्नत मागे !

चार खत्म कुरान की मन्नत माननी है के जब मेरी तबयत सही हो जायगी तो में इन सब हस्तियों को हदिया करुगा ! (माज़रत के जब मेरी तबयत सही हो जायगी) इस अम्ल को पुख्ता यकीन के साथ करे इंशाल्लाह आप की तबयत बिलकुल सही हो जाएगी ये अमल आयतुल्लाह वहीद ख़ुरासानी ने बताया है !

पहला कुरान जनाब ज़ैनब सलामउल्लाह को हदिया करुगा !

दूसरा कुरान हज़रत अबुल फस्लिल अब्बास को हदिया करुगा !

तीसरा कुरान इमाम मूसा कासिम अ.स. को हदिया करुगा !

चौथा कुरान जनाब ए नफ़ीसा ख़ातून को हदिया करुगा !

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सेहत की दुआ के लाभ निम्नलिखित हो सकते हैं:

  1. अल्लाह की हिफाजत की अर्ज़ी: इस दुआ को पढ़कर आप अल्लाह की हिफाजत और स्वस्थ रहने की कामना कर रहे हैं। यह दिखाता है कि आप अपनी सेहत को बनाए रखने के लिए अल्लाह पर भरोसा करते हैं।
  2. शारीरिक स्वास्थ्य: यह दुआ शारीरिक स्वास्थ्य के महत्व को बताती है। इसके माध्यम से स्वास्थ्य की महत्वपूर्णता को स्वीकार किया जाता है और अल्लाह से आपकी स्वस्थ शरीर को बनाए रखने की निवेदन किया जाता है।
  3. मानसिक और भावनात्मक स्वास्थ्य: अच्छी सेहत केवल शारीरिक स्वास्थ्य ही नहीं, बल्कि मानसिक और भावनात्मक स्वास्थ्य को भी सम्मिलित करती है। इस दुआ को पढ़कर आप अल्लाह से मानसिक स्वास्थ्य और भावनात्मक संतुलन को बनाए रखने की मदद मांग रहे हैं।
  4. आध्यात्मिक संबंध: यह दुआ हमारे जीवन के सभी पहलुओं, सेहत सहित, पर अल्लाह पर निर्भरता का पुनर्विचार कराती है। इससे हमारा आध्यात्मिक संबंध मजबूत होता है और हम अल्लाह की शक्ति और रहमत में विश्वास करते हैं।
  5. कृतज्ञता और विनम्रता: इस दुआ को पढ़ने से सेहत की देन के लिए हमारी कृतज्ञता का अनुभव होता है और हम अल्लाह के सम्मुख नम्र होते हैं, स्वास्थ्य की खुशी को धन्यवाद देते हैं।
  6. संरक्षण: सेहत की दुआ पढ़ने से हमें संरक्षण की प्राप्ति होती है। यह हमें स्वास्थ्य के उन सभी आंशिक और पूर्ण रूप से संरक्षण के लिए अल्लाह की मदद मांगने की आवश्यकता को दिखाता है।

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